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इंदौर में 44वीं बार अंगदान के लिए बना ग्रीन कॉरीडोर

मध्यप्रदेश            Jun 05, 2022


मल्हार मीडिया ब्यूरो इंदौर।

मध्यप्रदेश का इंदौर में आज 44वीं बार अंगदान की मानवीय घटना का साक्षी बना।

सोमवार सुबह 44वीं बार अंगदान के लिए ग्रीन कॉरिडोर बने।

कुछ मिनटों के अंतराल में सुबह 6 से साढ़े छह बजे के बीच दो ग्रीन कॉरिडोर बने।

ब्रेन डेथ मरीज की मौत के बाद परिजन ने उनके लीवर-किडनी दान किए।

शहर में अंगदान के जरिए नया जीवन देने के लिए सोमवार सुबह दो ग्रीन कॉरिडोर बनाए गए। शहर के निजी अस्पतालों में 44वीं बार अंगदान के बाद जीवन-मृत्यु से संघर्ष कर रहे मरीजों को लीवर व किडनी प्रत्यारोपित किए जाएंगे।

प्राप्त जानकारी के अनुसा सोमवार सुबह करीब 6 बजकर 10 मिनट बजे शैल्बी हॉस्पिटल से लेकर टी. रचोइथराम हॉस्पिटल तक और 6 बजकर 20 मिनट पर एलआईजी चौराहे स्थित निजी अस्पताल तक ट्रैफिक एडिशनल एसपी अनिल पाटीदार व टीआई दिलीप परिहार के नेतृत्व में 2 ग्रीन कॉरिडोर बनाए गए।

महज 9 मिनट यानी 6 बजकर 18 मिनट में लीवर चोइथराम हॉस्पिटल तो किडनी 6 बजकर 23 मिनट में एलआईजी चौराहा के दूसरे निजी अस्पताल में पहुंच चुके थे। 52 वर्षीय ग्राम दसोड़ा जिला खरगोन निवासी मायाचंद्र बिरला की ब्रेन हेमरेज से मौत के पहले न्यूरो सर्जन डॉ. अभिषेक सोनगरा द्वारा परिवार को संभावित ब्रेनडेथ के लक्षण की जानकारी दी गई।

परिवार की रजामंदी पर लीवर चोइथराम हॉस्पिटल के एक रोगी को एवं किडनी एलआईजी चौराहा स्थित सीएचएल हॉस्पिटल के मरीज को देने का निर्णय लिया गया था। इस सारे मामले में शेल्बी हॉस्पिटल के डॉ. विवेक जोशी हेमलता सिंह एवं संपूर्ण टीम ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

लीवर-किडनी किए जाएंगे ट्रांसप्लांट
बताया गया है कि मायाचंद्र बिरला की ब्रेन डेथ होने के बाद अंगदान की प्रक्रिया की गई जो तड़के 4 सुबह हुई।

ब्रेन स्टेम डेथ परीक्षण का कार्य शेल्बी हॉस्पिटल के 4 पंजीकृत डॉक्टरों ने किया। परिवार के विशेष आग्रह पर यह परीक्षण शासकीय चिकित्सा एमवाय हॉस्पिटल के न्यूरो सर्जरी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. राकेश गुप्ता द्वारा भी किया गया।

इसका प्रथम ग्रीन कॉरिडोर (6:09 से 6:18) शेल्बी हॉस्पिटल से चोइथराम हॉस्पिटल और दूसरा ग्रीन कॉरिडोर (6:20 से 6:23) शेल्बी हॉस्पिटल से सीएचएल हॉस्पिटल के लिए संपन्न हुआ।

अंगदान की सहमति दिवंगत के सुपुत्र शिशुपाल बिरला एवं पंकज बिरला ने दी। परिवार के ही सदस्य नरेंद्र बिरला ने महती भूमिका निभाई।

संभागायुक्त डॉ. पवन शर्मा एवं महात्मा गांधी मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. संजय दीक्षित की अगुवाई में इंदौर का नाम एक बार फिर अंगदान का साक्षी बना, जब यह 44वां अंगदान संपन्न हुआ।

परिवार के दुख की घड़ी में इंदौर सांसद शंकर लालवानी ने दिवंगत आत्मा को श्रद्धांजलि दी। परिवार,चिकित्सा दल एवं मुस्कान ग्रुप के इस परोपकारी कार्य की अनुमोदना की।

वरीयता सूची के अनुसार लिवर चोइथराम हॉस्पिटल के रोगी को, एक किडनी शेल्बी हॉस्पिटल के 40 वर्षीय पुरुष रोगी को एवं दूसरी किडनी सीएचएल के पंजीकृत रोगी को प्रत्यारोपण हेतु उपलब्ध हुआ। यह पहला अवसर था जब सुबह 5 बजे ही पुलिस प्रशासन ग्रीन कॉरिडोर के लिए अपनी व्यवस्थाओं में लग गया।

मुस्कान ग्रुप के सेवादार जीतू बगानी, संदीपन आर्य, राजेंद्र माखीजा, जुगल नागपाल, हरपाल सीतलानी, लक्की खत्री एवं लोकेश बगानी पिछले 36 घंटे बिना सोए समन्वय कार्य में लगे रहे।

सोटो नोडल अधिकारी डॉ. मनीष पुरोहित, डॉ. ईशा तिवारी, एमजीएम मेडिकल कॉलेज की निधि शर्मा, शेल्बी हॉस्पिटल के इंटेंसिविस्ट ऑर्गन ट्रांसप्लांट कोऑर्डिनेटर हेमलता चौहान का योगदान भी सराहनीय रहा।

 



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