Breaking News

मप्र बोर्ड 8वीं 5वीं में ग्रामीण इलाकों का प्रदर्शन रहा बेहतरीन

मध्यप्रदेश            May 15, 2023


मल्हार मीडिया भोपाल।

मध्यप्रदेश बोर्ड परीक्षा 5वीं और 8वीं का रिजल्ट जारी हो गया है। स्कूल शिक्षा मंत्री इंदर सिंह परमार ने राजधानी भोपाल स्थित महर्षि पतंजलि संस्कृत संस्थान के सभागार में परीक्षा परिणाम घोषित किया। प्रदेश में एक बार फिर लड़कियों ने बाजी मारी है।

पांचवी में 84.32 लड़कियां पास हुई है, जबकि लड़कों का रिजल्ट 80.34 परसेंट रहा। वहीं आठवीं में 78.86 फीसदी लड़कियां और 73.46 प्रतिशत लड़के पास हुए है। परीक्षार्थी अपना रिजल्ट राज्य शिक्षा केन्द्र की अधिकृत वेबसाइट rskmp.in पर जाकर चेक कर सकते हैं।

इसके अलावा ऑफिशियल वेबसाइट mpbse.nic.in और mpresults.nic.in के माध्यम से भी अपना परिणाम देख सकते हैं। छात्रों को सबसे पहले वेबसाइट mpbse.nic.in या mpresults.nic.in पर जाकर 5वीं-8वीं रिजल्ट लिंक पर क्लिक करना होगा। यहां रोल नंबर दर्ज कर सबमिट करना होगा। इसके बाद आपकी स्क्रीन पर एमपी बोर्ड पांचवी-आठवीं का परिणाम प्रदर्शित होगा।

पांचवी बोर्ड परीक्षा का परिणाम

शासकीय विद्यालय में 84.34%

अशासकीय में 79.07%

मदरसा में 62.62% रहा

इस साल 8वीं बोर्ड परीक्षा में कुल 76.09 प्रतिशत छात्र उत्तीर्ण हुए है।

आठवीं बोर्ड परीक्षा का परिणाम

शासकीय विद्यालय में 76.38%

अशासकीय में 75.78%

मदरसा में 44.66% रहा।

लड़कियों ने फिर मारी बाजी

एमपी बोर्ड 5वीं और 8वीं की परीक्षा में एक बार फिर लड़कियों ने बाजी मारी है। पांचवी में 84.32 लड़कियां पास हुई है, जबकि लड़कों का रिजल्ट 80.34 परसेंट रहा। वहीं आठवीं में 78.86 लड़कियां उत्तीर्ण हुई और लड़कों का प्रतिशत 73.46 रहा।

ग्रामीण क्षेत्रों में बेहतर रहा प्रदर्शन

एमपी बोर्ड परीक्षा में ग्रामीण क्षेत्रों में छात्रों ने बेहतर प्रदर्शन किया है। 5वीं में ग्रामीण क्षेत्र में 86.58 प्रतिशत, जबकि शहरी क्षेत्र में 72.73 प्रतिशत रहा है। वहीं 8वीं में ग्रामीण क्षेत्रों में 78.96 प्रतिशत, जबकि शहरी क्षेत्रों में 68.83 फीसदी रहा है।

गौरतलब है कि पांचवी और आठवीं की परीक्षा इस बार बोर्ड पैटर्न पर आयोजित की गई थी। प्रदेश में 5वीं-8वीं की एग्जाम का समय सुबह 9 बजे से 11.30 बजे तक निर्धारित किया गया था। जबकि दिव्यांगजनों को पेपर लिखने के लिए अतिरिक्त समय दिया गया था। बोर्ड एग्जाम में इस साल लगभग 87 हजार शासकीय शालाओं, 24 हजार अशासकीय शालाओं और 1 हजार से अधिक मदरसों के करीब 24 लाख विद्यार्थी शामिल हुए थे।

 



इस खबर को शेयर करें


Comments