मल्हार मीडिया भोपाल।
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि मैं प्रदेश में चल रहे विकास और जन-कल्याण कार्यक्रम के क्रियान्वयन में स्व-सहायता समूह की बहनों को अपना सहयोगी बनाना चाहता हूँ। प्रदेश में प्रसूति सहायता, संबल, छात्रवृत्ति और प्रधानमंत्री आवास जैसी अनेक योजनाएँ संचालित हैं।
जन-सामान्य की समस्याओं तथा लंबित कार्यों के जल्द निराकरण के लिए मध्यप्रदेश जन सेवा अभियान-2 चलाया जा रहा है। अभियान के क्रियान्वयन और लाभ आसानी से समय-सीमा में पात्र लोगों को उपलब्ध कराने में स्व-सहायता समूह की बहनें सहयोग करें।
मुख्यमंत्री ने योजनाओं और कार्यक्रम के क्रियान्वयन में स्व-सहायता समूहों को जोड़ने के लिए निश्चित चैनल विकसित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि यह लोगों की जिंदगी बदलने, उनके चेहरे पर प्रसन्नता और मुस्कान लाने का अभियान है, बहनों से इसमें हरसंभव सहयोग की अपेक्षा है।
मुख्यमंत्री स्व-सहायता समूहों के संकुल स्तरीय संगठनों की अध्यक्ष बहनों के साथ मुख्यमंत्री निवास में परिचर्चा कर रहे थे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि स्व-सहायता समूह की बहनें समाज-सुधार का आंदोलन भी चलाएँ। बच्चों की पढ़ाई, बाल विवाह को रोकने तथा नशा-मुक्ति के लिए समूह अपने स्तर पर गतिविधियों और जागरूकता के लिए कार्य करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आजीविका मिशन को सशक्त बनाने के लिए यह आवश्यक है कि हम अपनी जरूरत का सामान आजीविका स्टोर्स से ही लें। प्रदेश में आजीविका स्टोर और दीदी कैफे की संख्या बढ़ाई जाएगी। प्रदेश को बढ़ाने और बनाने में आजीविका मिशन महत्वपूर्ण योगदान दे रहा है। मुख्यमंत्री ने सीएम राइज स्कूल, मेधावी विद्यार्थी योजना सहित मेडिकल और इंजीनियरिंग की पढ़ाई हिंदी में करवाने की व्यवस्था संबंधी जानकारी भी दी।
मुख्यमंत्री कहा कि महिला सशक्तिकरण मेरी जिंदगी का मिशन है। हमारी योजनाएँ महिलाओं के दर्द से निकली हैं। पंचायत और नगरीय निकायों में महिलाओं के लिए 50 प्रतिशत आरक्षण, पुलिस सहित अन्य शासकीय सेवाओं में महिलाओं की अधिक प्रतिशत में भर्ती और महिलाओं के नाम पर अचल संपत्ति की रजिस्ट्री को प्रोत्साहित करने के लिए दी गई छूट से प्रदेश में सर्वत्र महिला सशक्तिकरण का प्रभाव दिखाई दे रहा है। महिलाएँ, उनको सौंपी गई हर जिम्मेदारी बखूबी निभा रही हैं। साथ ही उनकी अपनी पहचान बन रही है। सरपंच पति की पदवी इस सामाजिक क्रांति का प्रत्यक्ष प्रमाण है।
आजीविका स्टोर की सामग्री पर केन्द्रित विज्ञापन फिल्मों का हुआ प्रदर्शन
मुख्यमंत्री ने इस दौरान "आत्म-निर्भरता की ओर बढ़ते कदम- मध्यप्रदेश राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन की दस वर्ष की यात्रा" पुस्तक का विमोचन किया। आजीविका स्टार, मध्यप्रदेश आजीविका पोर्टल के लिए विकसित विज्ञापन फिल्मों का प्रदर्शन भी किया गया। चर्चा के दौरान महिला अध्यक्षों ने अपनी उपलब्धियों की जानकारी दी।
शहडोल के संकुल से जुड़ी श्रीमती रेखा बर्मन ने बताया कि महिलाओं को ऑडिट, बुक कीपिंग, रिकार्ड कीपिंग आदि का प्रशिक्षण दिया जा रहा है। अब यह महिलाएँ अन्य समूहों के आडिट में भी मदद कर रही हैं।
आजीविका स्टोर तथा आजीविका मार्ट पोर्टल पर उपलब्ध सामग्री के प्रचार-प्रसार तथा इनसे खरीददारी को प्रोत्साहित करने के लिए "आजीविका के रंग -खुशियों के संग तथा नई उमंग" नाम से लघु विज्ञापन फिल्में भी बनाई गई हैं।
Comments