मल्हार मीडिया ब्यूरो।
महाकालेश्वर मंदिर में बुधवार को एक बेहद चौंकाने वाली घटना हुई। इसमें मंदिर के गर्भगृह में पुजारी महेश शर्मा और नाथ संप्रदाय के महंत महावीर नाथ के बीच विवाद हो गया।
विवाद ड्रेस कोड और पगड़ी उतारने को लेकर हुआ। यह विवाद इतना बढ़ गया कि अभद्र भाषा का प्रयोग होने लगा।
श्री महाकालेश्वर मंदिर में बाबा महाकाल के सामने ही बुधवार को संतों और पुजारियों के बीच विवाद हो गया। इस दौरान जमकर मारपीट हुई। शर्मनाक बात यह है कि इस दौरान अश्लील शब्दों का प्रयोग किया गया।
मामले की जानकारी मिलते ही मंदिर प्रशासन समिति ने जांच करने का भरोसा दोनों पक्षों को दिया। कलेक्टर और एसपी के पास भी ये मामला पहुंचा है। अधिकारी अब दोनों पक्षों को शांत कर मामला सुलझाने में जुटे हैं।
यह विवाद मंदिर के पुजारी महेश शर्मा और भर्तहरि गुफा के नाथ सम्प्रदाय के संत महावीर नाथ के बीच हुआ। मंदिर के पुजारी और संत दोनों पक्ष काफी मजबूत माने जाते हैं।
दोनों पक्षों को गर्भगृह में एंट्री की परमिशन है। मामले के अनुसार एक संत के पहनावे और गर्भगृह में प्रवेश को लेकर पुजारियों ने आपत्ति ली। दोनों के बीच बहस हुई, जो विवाद में बदल गई।
हालांकि कुछ संतों और पुजारियों ने बीचबचाव करने की कोशिश की, लेकिन इसके बाद भी मारपीट होने लगी। गालीगलौज भी हुई। ये देखकर बाबा महाकाल के दर्शन करने आए भक्त भौचक रह गए। भक्तों को ऐसी उम्मीद नहीं थी कि जो बाबा महाकाल के सबसे बड़े भक्त माने जाते हैं, वह गर्भगृह के सामने अश्लील शब्दों का प्रयोग करें।
भर्तहरि गुफा के नाथ सम्प्रदाय के संत महावीर नाथ का कहना है गोरखपुर से हमारे संत शंकरनाथ जी आए हैं। उन्हें हम दर्शन करवाने मंदिर लेकर गए। प्रोटोकॉल पॉइंट डला हुआ था कि महाराज जी ने गर्भगृह में प्रवेश करेंगे और जल चढ़ाएंगे।
वहां पहले से मंदिर के पुजारी महेश शर्मा जल चढ़ा रहे थे।। महेश पुजारी ने महाराज की पगड़ी और कपड़ों पर आपत्ति जताई। महाराज जी हार्ट पेशेंट हैं, वह पुजारी की अभद्रता से घबरा गए।
मंदिर के महेश पुजारी ने कहा मेरे साथ जबर्दस्ती का विवाद हुआ, जो अपने आपको संत मानता है महावीर नाथ उसने कई बार मंदिर की मर्यादा को भंग किया है। अनधिकृत वस्त्र पहन कर मंदिर में जल चढ़ा रहा था। महावीर नाथ ने गर्भगृह में प्रवेश कर मुझे अपशब्द कहे, नंदी हॉल में भी उसने अपशब्द कहे।
मंदिर समिति द्वारा नियम बनाए गए हैं, जिसका सभी को पालन करना चाहिए। कोई भी बाबा महाकाल से ऊपर नहीं है। मंदिर के गर्भगृह की अपनी मर्यादा है। यहां भगवान विराजमान हैं। भगवान के सामने कोई भी सिर पर पगड़ी, टोपी, पहनकर या गमछा डालकर नहीं आता। महावीर नाथ ने मुझे निपटा देने की धमकी दी, धक्का दिया मुझे चोट आई है।
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