मल्हार मीडिया।
ऑपरेशन सिंदूर के चौथे वें दिन आज 12 मई को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश को संबोधित किया। जिसमें उन्होंने पूरी दुनिया को आतंकवाद के खिलाफ कड़ा संदेश दिया। उन्होंने कहा कि टेरर टॉक ट्रेड एक साथ नहीं चल सकते
बीते दिन देश का सामर्थ्य, संयम देखा, सेना को शास्त्र बालों को खुफिया एजेंसी, वैज्ञानिक को सेल्यूट। ऑपरेशन सिंदूर की प्राप्ति असीम शौर्य का प्रदर्शन, साहस , वीरता, पराक्रम देश की मां, बहन , बेटी को समर्पित।
23 अप्रैल को पहलगाम में बर्बरता दिखाई, देश दुनिया को झकझोर दिया। परिवार के सामने बेरहमी से मार डालना, आतंक का वीभत्स चेहरा है। सद्भाव को तोड़ने की साजिश है। आतंकी हमले के बाद सारा राष्ट्र एक स्वर में आतंक के खिलाफ कड़ी कार्यवाही के लिए खड़ा हुआ। सेना को पूरी छूट दी। हर आतंकी संगठन जान चुका है बहन बेटी के माथे से सिंदूर हटाने का परिणाम क्या होता है। 6-7 मई की देर रात देखा है। आतंकियों ने सपने में भी नहीं सोचा था कि भारत इतना बड़ा फैसला ले सकता है। राष्ट्र सर्वोपरि होने पर फौलादी फैसले लिए जाते हैं।
आतंकी इमारतें ही नहीं हौसला भी ध्वस्त हुए हैं।
दुनियां के आतंकी हमलों के तार आतंक के इन्हीं ठिकानों से जुड़ते रहे। 100 से ज्यादा आतंकी मौत के घाट उतारे गए हैं। आतंकी खुले आम पाकिस्तान में घूम रहे थे। भारत की इस कार्यवाही से पाकिस्तान घोर निराशा में घिर कर बौखला गया है। पाकिस्तान ने भारत का साथ रेने के बजाए भारत पर ही हमला करना शुरू कर दिया। सामान्य नागरिकों और सैन्य ठिकानों को निशाना बनाकर वह बेनकाब हो गया। पाकिस्तानी ड्रोन मिसाइल तिनके के समान बिखर गई। भारत ने पाकिस्तान के सीने पर वार किया। पाकिस्तान का घमंड चकनाचूर हो गया। जिसका अंदाजा नहीं था।
पाकिस्तान ने बचाने के रास्ते खोजने लगा। बुरी तरह पिटने के बाद 10 मई को dgmo को संपर्क किया। पाकिस्तान के सीने में बसे आतंकी अड्डे खंडहर बना दिए। पाकिस्तान की गुहार पर भारत ने विचार किया। मैं फिर दोहरा रहा हूं भारत ने सैन्य कार्यवाही स्थगित की है। पाकिस्तान के रवैए पर निर्भर करेगा कि भारत का कदम क्या होगा। सेना के सभी अंग इसके लिए सतर्क हैं।
युद्ध का नया पैमाना तय किया है। आतंकी हमले का मुहतोड़ जबाव दिया जाएगा जो हमारी अपनी शर्तों पर होगा और जड़ों पर प्रहार होगा। न्यूक्लियर ब्लैकमेल नहीं सहेगा। हम आतंकी सरपरस्त सरकार और आतंकी आकाओं को अलग अलग नहीं देखेंगे। मारे गए आतंकियों को अंतिम विदाई देने पाकिस्तानी सेना के अधिकारी उमड़ पड़े। युद्ध के मैदान पर हर बार धूल चटाई है जिसमें ऑपरेशन सिंदूर ने नया अध्याय जोड़ा है।
हर प्रकार के आतंकवाद के खिलाफ हम सभी का एकजुट रहना सबसे बड़ी शक्ति है। युग युद्ध का नहीं है लेकिन आतंकवाद का भी नहीं है। पाकिस्तान की सरकार और फौज जिस तरह आतंक को पनाह दे रहे हैं वह उन्हीं को साफ कर देगा। आतंक का सफाया किए बिना शांति का कोई रास्ता नहीं है। टेरर और टॉक एवं ट्रेड एक साथ नहीं चल सकते। पाकिस्तान से बात आतंकवाद पर होगी। पीओके पर होगी। बुद्ध ने शांति का रास्ता दिखाया , यह मार्ग भी शक्ति से होकर जाता है। विकसित भारत के लिए देश का शक्तिशाली होना जरूरी है। बीते दिनों में भारत ने यही किया है। एकजुटता का सफर और संकल्प को नमन करता हूं।
वरिष्ठ पत्रकार शैलेष तिवारी के सौजन्य से
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