Breaking News

चीनी उद्योग को मिला 70 अरब का राहत पैकेज

राष्ट्रीय            Jun 06, 2018


मल्हार मीडिया ब्यूरो।

केंद्र सरकार ने नकदी संकट से जूझ रहे खस्ताहाल घरेलू चीनी उद्योग की सेहत सुधारने के मकसद से बुधवार को 70 अरब रुपये की राहत पैकेज का एलान किया। केंद्रीय कानून, न्याय और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा, "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में बुधवार को चीनी मिलों की नकदी की समस्या के कारण मिलों पर बढ़ते गन्ना उत्पादकों के बकाये के बढ़ते बोझ को दूर करने के 7000 करोड़ रुपये मंजूर किए गए हैं।"

सरकार ने घरेलू बाजार में चीनी के दाम में सुधार के मद्देनजर चालू चीनी उत्पादन विपणन वर्ष-2017-18 (अक्टूबर-नवंबर) में 30 लाख टन चीनी के बफर स्टॉक को मंजूरी प्रदान की।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में लिए गए फैसले की जानकारी मीडिया को देते हुए केंद्रीय खाद्य, सार्वजनिक वितरण एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्री रामविलास पासवान ने बताया कि सरकार ने 30 लाख टन चीनी का बफर स्टॉक रखने का फैसला किया है। इसके अलावा सरकार ने चीनी का न्यूनतम बिक्री मूल्य यानी एक्स मिल रेट 29 रुपये प्रति किलोग्राम तय किया है।

पासवान ने बताया कि सरकार ने बफर स्टॉक के लिए मिलों को 1,175 करोड़ रुपये की भरपाई करने का फैसला किया है।

इसके अलावा सरकार ने इथेनॉल क्षमता निर्माण के लिए मिलों को 4,440 करोड़ रुपये का आसान कर्ज (सॉफ्ट) मुहैया करवाने का फैसला किया।

मंत्रिमंडल की बैठक में लिए गए फैसले के मुताबिक, सरकार ऋण स्थगन की एक साल की अवधि समेत पांच साल तक के लिए बैंक द्वारा मिलों को प्रदान की जाने वाली 4,440 रुपये की रकम पर ब्याज में अधिकतम 1,332 करोड़ रुपये की भरपाई करेगी।

पासवान ने कहा कि गन्ना किसानों का मिलों पर 22,000 करोड़ रुपये बकाया है, जिसका भुगतान समय से करने को लेकर सरकार ने चीनी मिलों को सहायता करने का फैसला किया है।

उन्होंने कहा, "हम चीनी मिलों को चलाने की गारंटी नहीं दे सकते हैं, बल्कि लागत से कम चीनी का दाम होने से जो मिलों को नुकसान हो रहा है, उसकी क्षतिपूर्ति करना हमारा काम है।"

उन्होंने कहा कि गन्ना किसानों का बकाया समय पर नहीं भुगतान होने पर राज्य सरकार मिलों के खिलाफ कार्रवाई कर सकती है।

देश में चालू पेराई सत्र 2017-18 में देश में 320 लाख टन के करीब चीनी उत्पादन का अनुमान है, जबकि सालाना घरेलू खपत 250 लाख टन है।



इस खबर को शेयर करें


Comments