मल्हार मीडिया ब्यूरो।
वडोदरा में हुए पुल हादसे के बाद गुजरात सरकार एक्शन मोड में आ गई है। सीएम भूपेंद्र पटेल ने हादसे की विस्तृत और गहन हाई लेवल जांच के आदेश दिए थे। विशेषज्ञों की एक टीम को इसकी जिम्मेदारी सौंपी गई थी, जिसे रिपेयर, इंस्पेक्शन और क्वालिटी चेक को लेकर रिपोर्ट पेश करनी थी।
प्रारंभिक जांच के बाद एक्सपर्ट की कमेटी ने 5 इंजीनियर्स की जिम्मेदारी तय की। इसका संज्ञान लेते हुए पांचों इंजीनियर्स को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया गया है। इनके नाम एनएम नाइकवाला (कार्यपालक अभियंता), यूसी पटेल (उप-कार्यपालक अभियंता), आरटी पटेल (उप-कार्यपालक अभियंता) और जेवी शाह (सहायक अभियंता) हैं।
मौत का आंकड़ा बढ़कर हुआ 17
वहीं सीएम भूपेंद्र पटेल ने राज्य के अन्य पुलों का भी तत्काल और गहन निरीक्षण करने के निर्देश दिए हैं। महिसागर नदी पर बने गंभीरा पुल के ढहने से मरने वालों का आंकड़ा बढ़कर 17 हो गया है, जबकि कम से कम तीन लोग अभी भी लापता हैं। गुरुवार को चार और शव बरामद किए गए।
आणंद और वडोदरा शहर को जोड़ने वाले इस चार दशक पुराने पुल का कुछ हिस्सा बुधवार सुबह भरभराकर नदी में गिर गया था। वहां से गुजर रहे कई वाहन नदी में जा गिरे थे। वडोदरा के कलेक्टर अनिल धामेलिया के अनुसार- 'एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें नदी के भीतर चार किलोमीटर तक व्यापक स्तर पर खोजबीन कर रही हैं। अब तक 16 शव बरामद किए जा चुके हैं जबकि तीन लोग अभी भी लापता हैं। अन्य किसी भी लापता व्यक्ति की सूचना देने के लिए लोग हमारे नियंत्रण कक्ष में काल कर सकते हैं।'
बुधवार देर रात्रि तीन शव मिले
उन्होंने कहा कि हो सकता है कि कुछ और लोग इस हादसे का शिकार हुए हों, क्योंकि नदी में गिरने वाली एक कार और एक मिनी ट्रक के बारे में कोई विशेष जानकारी उपलब्ध नहीं है। ये वाहन कीचड़ में तीन मीटर तक धंसे हुए हैं। प्रशासन के अनुसार, मृतकों में आणंद जिले के आठ, वडोदरा के चार, भरुच के दो, देवभूमि द्वारका व पंचमहल के एक-एक व्यक्ति हैं। नदी में गिरे टाइल्स से भरे ट्रक को हटाकर तलाश करने पर बुधवार देर रात्रि तीन शव मिले।
कलेक्टर ने कहा- 'बारिश और नदी में कीचड़ की मोटी परत की वजह से बचाव कार्य बेहद चुनौतीपूर्ण बना हुआ है क्योंकि ऐसी स्थिति में कोई मशीन काम नहीं कर रही है। नदी के बीच में डूबे हुए वाहनों के करीब पहुंचने के लिए किनारे पर एक विशेष पुल का निर्माण किया जा रहा है।' इस बीच उच्च स्तरीय जांच करने के लिए सड़क और भवन विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों की एक टीम ने गुरुवार को घटनास्थल का दौरा किया।
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