मल्हार मीडिया भोपाल।
आजादी का अमृत महोत्सव श्रृंखला में स्वाधीनता आंदोलन युगीन प्रवृत्तियों, नवजागरण में साहित्य और पत्रकारिता की भूमिका, संघर्ष और फलितार्थ पर व्यापक विमर्श का आयोजन 29 अगस्त को सप्रे संग्रहालय में किया जा रहा है।
परिसंवाद का केन्द्रीय विषय है - माधवराव सप्रे और उनका युग। साहित्य अकादेमी नयी दिल्ली और माधवराव सप्रे स्मृति समाचारपत्र संग्रहालय के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित इस महत्वपूर्ण आयोजन में नयी दिल्ली, महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश के विद्वज्जन सहभागिता कर रहे हैं।
सप्रे संग्रहालय के संस्थापक-संयोजक विजयदत्त श्रीधर ने बताया कि माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. के.जी. सुरेश, रवीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय के कुलाधिपति डा. संतोष चौबे, साहित्य अकादेमी हिन्दी परामर्श मण्डल के संयोजक प्रो. चितरंजन मिश्र, एल.एन.सी.टी. विश्वविद्यालय के कुलपति डा. एन.के. थापक, मध्यप्रदेश साहित्य अकादमी के निदेशक डा. विकास दवे, सप्रे साहित्य के अध्येता डा. सुशील त्रिवेदी, सूचना आयुक्त श्री विजय मनोहर तिवारी, लेखक-प्राध्यापक प्रो. कृपाशंकर चौबे, लब्ध प्रतिष्ठ साहित्यकार डा. श्रीराम परिहार, कला-संस्कृति मर्मज्ञ श्री विनय उपाध्याय, पूर्व जनसंपर्क संचालक श्री लाजपत आहूजा, निदेशक डा. मंगला अनुजा, सहायक संपादक श्री अजय शर्मा, डा. राखी तिवारी, डा. वन्या चतुर्वेदी, डा. लावण्या शर्मा परिसंवाद के प्रमुख वक्ता होंगे।
29 अगस्त को पूर्वाह्न 10.30 से शाम 5.00 बजे तक चलने वाले परिसंवाद में भोपाल के विश्वविद्यालयों के पत्रकारिता, राजनीति विज्ञान, साहित्य और इतिहास के प्राध्यापक एवं विद्यार्थी विशेष रूप से भागीदारी करेंगे। सप्रे संग्रहालय विद्यार्थियों को पुस्तकें भेंट करेगा। उन्हें सहभागिता प्रमाणपत्र दिए जाएँगे। परिसंवाद की पूरी कार्यवाही की रिपोर्ट भी विद्यार्थी तैयार करेंगे। सबसे अच्छी रिपोर्ट के लिए सप्रे संग्रहालय प्रथम, द्वितीय तथा तृतीय पुरस्कार प्रदान करेगा।
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