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पोलिनियम जहर से नहीं हुई थी सुनंदा पुस्कर की मौत:एफबीआई

वामा            Nov 11, 2015


मल्हार मीडिया ब्यूरो दिल्ली पुलिस ने एफबीआई की एक रिपोर्ट के तथ्यों को साझा करते हुए कहा कि सुनंदा पुष्कर के विसरा के नमूने में विकिरण का स्तर सुरक्षित मानक नियमों के अंदर है। इस रिपोर्ट ने वस्तुत: पोलोनियम से जहर फैलने की बात को खारिज कर दिया है। दिल्ली के पुलिस आयुक्त बीएस बस्सी ने कहा कि इस हाई प्रोफाइल मामले में आगे की कोई कार्रवाई करने से पहले वाशिंगटन डीसी स्थित प्रयोगशाला की रिपोर्ट को पड़ताल के लिए एक मेडिकल बोर्ड को दिया जाएगा। सुनंदा कांग्रेस नेता शशि थरूर की पत्नी थीं। बस्सी ने कहा, मैं समझता हूं कि रिपोर्ट प्राप्त हो गई है। एफबीआई प्रयोगशाला ने विभिन्न पदाथो का विश्लेषण किया। और चिकित्सकों के इस रिपोर्ट का अध्ययन कर लेने के बाद इससे संकेत मिलना चाहिए (मौत के पीछे मौजूद कारण के बारे में)। नमूनों में विकिरण के स्तर के बारे मंे पूछे जाने पर दिल्ली पुलिस आयुक्त ने कहा कि यह सुरक्षित मानक नियमों के अंदर था। उन्होंने बताया कि नतीजों को पोस्टमार्टम रिपोर्ट के साथ जोड़ा जाएगा। सूत्रों के मुताबिक जांच के लिए नमूने भेजे जाने के नौ महीने बाद एफबीआई रिपोर्ट मिली है। विसरा के नमूने फरवरी में वाशिंगटन स्थित एफबीआई प्रयोगशाला को भेजे गए थे ताकि यह पता चल सके कि किस तरह के जहर से सुनंदा की मौत हुई थी। दरअसल, एम्स के मेडिकल बोर्ड ने मौत के पीछे शरीर में जहर फैलने को वजह माना था लेकिन किसी खास पदार्थ का नाम नहीं बताया था। इन घटनाक्रमों पर प्रतिक्रिया जाहिर करते हुए एम्स फोरेंसिक प्रमुख सुधीर गुप्ता अपनी इस राय पर कायम हैं कि मौत का कारण शरीर में जहर का फैलना है। हालांकि यह पूछे जाने पर कि क्या पोलोनियम 210 (एक रेडियोएक्टिव आइसोटोप) के चलते मौत हुई उन्होंने कहा कि इसका दायरा काफी विस्तत है। गुप्ता ने कहा कि ऐसे नतीजे हैं जिनसे इस बात की पुष्टि होती है कि मौत जहर फैलने के चलते हुई। हमने उनकी मौत के अन्य कारणों को हटाने के बाद यह निष्कर्ष निकाला। गौरतलब है कि सुनंदा को पिछले साल 17 जनवरी को यहां के पांचसितारा होटल में मत पाया गया था जिसके एक दिन पहले ही टिवटर पर उनका पाकिस्तानी पत्रकार मेहर तरार के साथ बहस हुई थी। मेहर का थरूर के साथ कथित तौर पर प्रेम संबंध था।


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