मल्हार मीडिया भोपाल।
मध्यप्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री ने वर्तमान मुख्यमंत्री को राज्य में बिगड़ रहे जातीय संतुलन को लेकर चेतावनी दी है।
ग्वालियर चंबल अंचल में हो रही जातीय धुर्वीयकरण को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती ने कहा कि मध्यप्रदेश में क्षेत्रीय और जातिगत संतुलन बिगड़ गया है।
उन्होंने कहा है कि कभी भी इन इलाकों में संघर्ष भड़क सकता है।
ग्वालियर चंबल अंचल में जातियां एक दूसरे के प्रति झगड़ा करने के लिए उतारू है। इसके साथ ही वहां पर सवर्ण और ओबीसी एसटी एससी वर्ग के बीच संघर्ष चल रहा है।
धीरे धीरे पूरे देश में भी ऐसी स्थिति बन सकती है। भागीदारी में असमानता नहीं दिखना चाहिए। इसके साथ ही उमा भारती ने कहा कि मैंने शिवराज को पहले ही चेताया था।
उमा भारती ने माना बड़ी संख्या में युवा बेरोजगार है। ब्राह्मण ठाकुर के बच्चे भूखे मरने की कगार पर है।
गौरतलब है कि इस समय ग्वालियर चंबल अंचल में जातीय ध्रुवीकरण देखने को मिल रहा है और यही कारण है कि एमपी में विधानसभा चुनाव से पहले सप्ताह तक पार्टी के लिए काफी मुश्किलें खड़ी कर रहा है।
अभी हाल में ही बीजेपी से निष्कासित नेता प्रीतम लोधी के द्वारा दिए गए बयान को लेकर ग्वालियर चंबल अंचल में कई जातियां एक-दूसरे के आमने-सामने हैं।
बीजेपी से निष्कासित करने के बाद प्रीतम लोधी के समर्थन में ओबीसी ,एससी, एसटी वर्ग खड़ा हो गया है तो वही समय वर्ग उसके विरोध में लगातार आवाज उठा रहा है।
यही कारण है कि इस समय समाज के वर्गों के बीच आपसी प्रतिद्वंद्विता को मिल रहा है और यह प्रतिद्वंदिता सत्ता दल पार्टी के लिए मुश्किलें खड़ी कर रहा है।
इस साल 2018 के विधानसभा चुनाव में ऐसे ही हालात बने थे और पूरा माहौल शिवराज सरकार के खिलाफ हो गया था और यही कारण रहा कि साल 2018 के विधानसभा चुनाव में शिवराज को कुर्सी गंवानी पड़ी चौकी वाली चंबल अंचल की 34 सीट में से महज बीजेपी सिर्फ 6 सीटें जीत पाई।
बाकी कांग्रेस के खाते में चली गई और शिवराज की सरकार गिर गई।ऐसे ही हालात फिर देखने को मिल रहे हैं। अंचल के सरकार के विरोध में ओबीसी एससी एससी वर्ग लगातार आवाज उठा रहा है।
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