मीडिया संस्थानों,मालिकों की जांच के लिए मजीठिया मंच ने की एसआईटी गठन की मांग

मीडिया            Jan 28, 2017


मल्हार मीडिया डेस्क।
भ्रष्ट, बेईमान और चोर भारतीय मीडिया संस्थानों और मालिकों की जांच के लिए एसआईटी गठित हो। सबसे अधिक ईमानदारी,नैतिकता और संविधान की रक्षा करने वाले मीडिया संस्थानों की पोल सुप्रीम कोर्ट में देश भर के श्रम आयुक्तों की मजीठिया वेज बोर्ड के क्रियान्वयन रिपोर्ट से खुल ही गई थी लेकिन निर्लज्ज अखबार और मीडिया संस्थानों के मालिकों ने इसे देश में नहीं छपने दिया। मजीठिया पर सुप्रीम कोर्ट में चल रही सुनवाई को अखबार तथा अन्य‍ मीडिया संस्थानों के मालिक छपने से सेंसर कर रखा है लेकिन इन कूप मंडूकों को यह समझना चाहिए कि दुनिया में और भी तरीके हैं पोल खोलने के।

विश्व आर्थिक मंच ने एक बार फिर भारतीय मीडिया में व्याप्त भ्रष्टाचार और बेईमानी की पोल खोल दी है। इससे पहले भी फ्री प्रेस जर्नल ने भारतीय मीडिया में धड़ल्ले से मालिकों की मिली भगत से चल रहे पेड न्यूज के कुकर्म का पर्दाफाश किया था। इसके बाद ही दैनिक जागरण जैसे अपने मियां मुंह मिट्ठू अखबार के मालिक और प्रधान संपादक श्री संजय गुप्ता को भारतीय प्रेस परिषद और भारतीय निर्वाचन आयोग ने पेड न्यूज छापने का दोषी पाया था। इतना ही नहीं इस घटना के बाद भी दैनिक जागरण सहित लगभग देश के सभी छोटे –बड़े अखबारों का नाम निर्वाचन आयोग की पेड न्यूज छापने और दिखाने वालों की सूची में शामिल किया जाता रहा है।

विश्व आर्थिक मंच की हाल की रिपोर्ट के कारण विश्व में जो देश की बदनामी हो रही है इसके लिए सीधे –सीधे भारतीय मीडिया संस्थानों के चोर-बेईमान धन्नासेठ जिम्मेदार हैं। बहुत ही खेद की बात है कि सरकार /प्रशासन किसी कार्टूनिस्ट के कार्टून छपने पर, किसी पत्रकार की सख्त टिप्पणी पर और किसी व्यक्ति के सोशल मीडिया पर कुछ कह भर देने वाले लोगों के खिलाफ ऐसे मामले में तुरंत देशद्रोह का मामला बनाकर गिरफ्तार कर लेता है। लेकिन इस मामले में सबकी घिग्गी बंधी हुई है। कहां है देश को शर्मसार होने से बचाने वाल लोग। क्यों नहीं देश को शर्मसार करने, संविधान और कानूनों को नहीं मानने वालों इन धन्ना सेठों के खिलाफ कार्रवाई की जा रही।

हमारा मानना है कि सरकार को विश्व आर्थिक मंच की रिपोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में देश भर के श्रम आयुक्तों की रिपोर्ट के आधार पर मीडिया संस्थानों में हो रही अनैतिक, आपराधिक और गैरकानूनी कार्यो की जांच के लिए एसआईटी का गठन करना चाहिए।

मजीठिया मंच फेसबुक वॉल से



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