क्रांति कुमार।
आध्यात्मिक गुरु जग्गी वासुदेव के आश्रम में दो लड़कियों ने संन्यास ग्रहण किया है.
दो लड़कियों के माता पिता ने पुलिस में शिकायत दर्ज की है उनकी दोनों बेटियों को खाने पीने में दवा मिलाकर ब्रेनवॉश कर के सन्यासिन बनाया गया है.
सुनवाई के लिए मामला हाई कोर्ट में गया, दोनों जजों ने जग्गी वासुदेव को फाटकर लगाते हुए सवाल किया है अपनी बेटी का विवाह करके उसका घर बसाया और औरों की बेटियों को सन्यासिन बना रहे हो ?
जग्गी वासुदेव आरक्षण और जाति जनगणना विरोधी हैं. रामराज लाने की बात अक्सर करते हैं.
दुनिया को ये जानना चाहिए जग्गी वासुदेव कोई पहली बार विवादों में नही पड़े हैं. इनके ससुर ने अपनी बेटी की हत्या का आरोप इनपर लगाया है.
1997 में आश्रम के अंदर जग्गी वासुदेव की पत्नी की अचानक मृत्यु हो गयी. जग्गी वासुदेव ने बिना अपने सास ससुर का इंतजार किए अपनी पत्नी का आश्रम के भीतर अंतिम संस्कार कर दिया.
और कहा पत्नी ने महासमाधि ली है.
ससुर ने आरोप लगाया मेरी बेटी की मौत संदिग्ध है. उसकी हत्या की गई है और जांच होनी चाहिए.
जग्गी वासुदेव का व्यक्तित्व संदिग्ध है.
हाथ जोड़कर बिनती है किसी भी बाबा साधु संतों के चक्कर में ना पड़े. वे भी हमारी तरह हाड़ मांस वाले इंसान है, किसी के पास दिव्य शक्ति या ईश्वरीय शक्ति नही होती.
सावधान रहें और सतर्क रहें.
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