मल्हार मीडिया ब्यूरो।
समाचार एजेंसी एनआई के मुताबिक, सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने टीवी चैनलों को सलाह दी है कि वे उत्तरकाशी के सुरंग मामले को सनसनीखेज न बनाएं।
दिवाली के दिन उत्तरकाशी की निर्माणाधीन सुरंग में हुए हादसे में फंसे 41 श्रमिकों को अभी तक बाहर नहीं निकाला जा सका है। रेस्क्यू का आज 10वां दिन है।
सुरंग के ऊपरी हिस्से में कम दिखी गतिविधियां
मंगलवार को सुरंग के ऊपरी हिस्से में ड्रिलिंग के लिए गतिविधियां तेज होने की उम्मीद थी, लेकिन यहां कम गतिविधियां ही नजर आईं। गत सोमवार सुबह सर्वे व देर शाम तक यहां सड़क बनाने का काम पूरा कर लिया गया था। लेकिन मंगलवार को यहां ड्रिलिंग व बोरिंग की कोई कार्रवाई शुरू नहीं हो सकी। हालांकि एक बोरिंग मशीन सुरंग के ऊपर जाने वाली सड़क पर जाती हुई जरूर नजर आई थी।
मजदूरों से लगातार हो रहा संपर्क- लेफ्टिनेंट जनरल सैयद अता हसनैन
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के सदस्य, लेफ्टिनेंट जनरल सैयद अता हसनैन ने कहा कि सुरंग के अंदर पर्याप्त पानी, ऑक्सीजन और रोशनी है। फंसे हुए श्रमिकों के कुछ परिवारों को वहां पहुंचाया गया है। जिन राज्यों से श्रमिक आए हैं वहां के प्रशासन से संपर्क किया गया है। श्रमिकों के परिवार वहां लगाए गए चार इंच के पाइप से अपनों से बातें कर रहे हैं।
मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने किया सुरंग का निरीक्षण
उत्तरकाशी जनपद प्रभारी व कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल भी आज सिलक्यारा पहुंचे। इस दौरान उन्होंने टनल का निरीक्षण किया। कहा कि हम बहुत जल्दी सफल होने वाले हैं। अभी तक पूरा अभियान सकारात्मक दिशा में जा रहा है। विपक्ष के आरोपों पर बोले कि ये वक्त राजनीति का नहीं है। विपक्ष को भी 41 मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकालने की कामना करनी चाहिए। अगर विपक्ष के पास कोई सुझाव है तो हमे बताएं, हम अमल करेंगे।
ऑगर मशीन से दोबारा ड्रिलिंग शुरू
सिलक्यारा सुरंग में ऑगर मशीन से दोबारा ड्रिलिंग शुरू हुई है। जिससे अब तक करीब 34 मीटर तक ड्रिलिंग की जा चुकी है। पूर्व में 900 एमएम व्यास के पाइप 22 मीटर तक डाले गए थे। इनके अंदर ही 820 एमएम व्यास के 12 मीटर तक पाइप डाले जा चुके हैं। सब कुछ ठीक रहा तो आज शाम तक पाइपों के आर-पार होने की उम्मीद की जा रही है।
श्रमिकों को बाहर निकालने के लिए हर संभव प्रयास कर रही सरकार-सीएम धामी
सीएम धामी ने कहा कि सिलक्यारा टनल में चल रहे रेस्क्यू ऑपरेशन के अंतर्गत छह इंच व्यास की पाइप मलबे के आर-पार किए जाने से श्रमिकों तक भोजन के साथ ही अन्य आवश्यक सामग्री पहुंचाई जा रही है। इस संबंध में आदरणीय प्रधानमंत्री जी का मार्गदर्शन एवं सहयोग भी हमें निरंतर प्राप्त हो रहा है। हमारी सरकार सभी श्रमिकों को सुरक्षित बाहर निकालने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है।
उत्तरकाशी के सिल्कयारा में जहां सुरंग के अंदर फंसे 41 श्रमिकों को बाहर निकालने के लिए बचाव अभियान चल रहा है। वहां का ड्रोन से दृश्य कैद किया गया है।
ड्रिलिंग के लिए लगाई गई पुरानी ऑगर मशीन को फिर से शुरू किया गया है। इससे अब पांचवें पाइप को आगे बढ़ाया जा रहा है। मशीन चलाते हुए भीतर अभी भी कम्पन्न महसूस हो रही है। इसलिए केवल केवल जरूरी ऑपरेटर और विशेषज्ञ ही सुरंग के अंदर हैं।
सिलक्यारा सुरंग के ऊपर बोरिंग के लिए मशीन रवाना कर दी गई है। यह मशीन अस्थाई सड़क से ऊपर पहुंचकर बोरिंग करेगी। यह बोरिंग लाइफलाइन के रूप में की जाएगी।
सुरंग में फंसे 41 मजदूरों को आज छह इंच के पाइप से फल भेजे गए हैं। अंदर फंसे मजदूरों के परिजनों का कहना है कि उन्हें खुशी है कि अंदर फंसे सभी लोग सुरक्षित हैं और उन्हें आज दसवें दिन फल भेजे गए हैं। वहीं, परिजनों ने श्रमिक से बात भी की।
1-टनल के भीतर रात तीन बजे छह इंच की पाइप लाइन ब्लॉक हुई थी, जिसे फायर ब्रिगेड की गाड़ी ने पानी के प्रेशर से साफ किया। इसके बाद ही कैमरा अंदर जा पाया।
2- एसजेवीएन की मशीन आज दोपहर तक टनल के ऊपर पहुंचने की उम्मीद। शाम या रात को शुरू हो सकती है वर्टिकल ड्रिल।
3- टनल के भीतर अमेरिकी ऑगर मशीन को जल्दी ही शुरू करने की तैयारी।
4- टनल में फंसे मजदूरों को फल जैसे संतरे भेजे गए।
5- परिजन टनल में पहुंचे। अपनों से बात करके संतुष्ट दिखे।
6- आज टनल के आसपास भारी बंदिशें हैं, सरकारी वाहन भी नहीं जाने दे रहे। यूपीसीएल के इंजीनियरों को टनल के ऊपर विद्युतीकरण करने जाना है लेकिन पास के बहाने उन्हें रोका गया।
7- आरवीएनएल ने टनल के ऊपर आठ इंच के लाइफलाइन पाइप की ड्रिल को बेस बनाया।
पीएम नरेंद्र मोदी ने सीएम पुष्कर सिंह धामी को फोन कर सिलक्यारा में चल रहे बचाव कार्यों का फीडबैक लिया। कहा, केंद्र द्वारा आवश्यक उपकरण व संसाधन उपलब्ध कराए जा रहे हैं। केंद्र और राज्य की एजेंसियों के परस्पर समन्वय से श्रमिकों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया जाएगा। वहीं, सीएम धामी ने उन्हें श्रमिकों से एंडोस्कोपिक कैमरे की मदद से हुई बातचीत एवं उनकी कुशलता की जानकारी भी दी।
सुरंग के अंदर फंसे मजदूरों के लिए रात खिचड़ी भेजी गई थी। वहीं अब उनके लिए नाश्ता तैयार किया जा रहा है। यह नाश्ता भी उन्हें छह इंच के नए फूड पाइप से भेजा जाएगा।
आज सुबह एंडोस्कोपिक फ्लेक्सी कैमरा सुरंग में फंसे मजदूरों तक पहुंचाया गया। बचावकर्मी वॉकी-टॉकी के माध्यम से फंसे हुए श्रमिकों से संपर्क करने की कोशिश कर रहे हैं।
कैमरे के सुरंग में भेजे जाने को लेकर सीएम धामी ने भी ट्वीट कर जानकारी दी। उन्होंने लिखा 'सिल्क्यारा, उत्तरकाशी में निर्माणाधीन टनल में फँसे श्रमिकों की पहली बार तस्वीर प्राप्त हुई है। सभी श्रमिक भाई पूरी तरह सुरक्षित हैं, हम उन्हें शीघ्र सकुशल बाहर निकालने हेतु पूरी ताक़त के साथ प्रयासरत हैं।'
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